वो निहारिका को परेशान देखकर बोली- “यार तू कब तक ऐसे ही डरती रहेगी? वो निहारिका को परेशान देखकर बोली- “यार तू कब तक ऐसे ही डरती रहेगी?
देखिये आंटी जी नौकरी वाली लड़कियाँ मेरी नज़र मे अच्छी नहीं होतीं! देखिये आंटी जी नौकरी वाली लड़कियाँ मेरी नज़र मे अच्छी नहीं होतीं!
वो बुजदिलो, आज तुम्हारी वजह से ही समाज में वर्ण व्यवस्था टूट रही है । वो बुजदिलो, आज तुम्हारी वजह से ही समाज में वर्ण व्यवस्था टूट रही है ।
मै अपनी नई कंपनी चलाने के लिए शहर से गांव गया था। मै अपनी नई कंपनी चलाने के लिए शहर से गांव गया था।
यही छोटी छोटी बातें आगे चलकर एक बड़ा पहाड़ बन जाती है। यही छोटी छोटी बातें आगे चलकर एक बड़ा पहाड़ बन जाती है।
खुली पलक में झूठा गुस्सा बंद पलक में प्यार, जीना भी मुश्किल…..। खुली पलक में झूठा गुस्सा बंद पलक में प्यार, जीना भी मुश्किल…..।